ISBN: 978-8194899723
EDITION: visas
PAGE: 100
LANGUAGE: Hindi
भूमंडलीकरण कहता है कि उसके तहत हुआ बाजारों का एकीकरण लैंगिक रूप से तटस्थ है अर्थात वह मर्दवादी नहीं है। यह एक ऐसा दावा है जो कभी पुनर्जागरण के मनीषियों ने भी नहीं किया था। भूमंडलीकरण इससे भी एक कदम आगे जा कर कहता है कि नारीवाद की किसी किस्म से कोई ताल्लुक न रखते हुए भी उसने स्त्री के शक्तिकरण के क्षेत्र में अन्यतम उपलब्धियाँ की हैं। इस पुस्तक में ‘स्त्री भूमंडलीकरण’ के आयामों और प्रभावों को बखूबी समझा जा सकता है। हंस मासिक पत्रिका - देश की सबसे अधिक पढ़ी जाने वाली साहित्यिक पत्रिका महिला सरोकारों को उजागर करने के लिए प्रसिद्ध है. अनेक महिला लेखिकाओं की प्रतिभा को पहचानने का, उन्हें तराशने का कार्य हंस ने किया है. इसी सन्दर्भ में हंस ने समय समय पर महिला विशेषांक निकाले , जो इतने लोकप्रिय रहे , कि आज भी उनकी मांग बनी हुई है. उनकी इस लोकप्रियता को देखते हुए , इन्हे पुस्तकाकार रूप में लाया गया है. देश की जानी मानी लेखिकाओं की कहानियाँ, कवितायेँ, लेख इस पुस्तक श्रृंखला में उपलब्ध हैं.
ISBN: 978-8194899723
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